अव्यक्त से व्यक्त की उत्पत्ति- भाग 16
पुराणों में सृष्टि क्रम:- ×××××××××××××× जल मे निवास कर रहे विष्णु जी की नाभि से कमल ( कमल के तीन...
पुराणों में सृष्टि क्रम:- ×××××××××××××× जल मे निवास कर रहे विष्णु जी की नाभि से कमल ( कमल के तीन...
वर्तमान सृष्टि की उत्पत्ति को कितना समय व्यतीत हो चुका है, इस सम्बंध में सूर्य सिद्धान्त मे उल्लेख मिलता है:-कल्पादस्माच्च...
सूर्य सिद्धांत के मध्यमाधिकार नामक अध्याय मे दीर्घ काल बोधक ईकाइयों को इस प्रकार परिभाषित किया हैःमनुष्यों के लिए जो...
कल्पो ब्राह्ममहः प्रोक्तं।*****************************************१५ निमेष = ०१ काष्ठा३० काष्ठा = ०१ कला।३० कला = ०१ मुहूर्त।३० मुहूर्त = ०१ अहोरात्र।३० अहोरात्र=...
सर्वभूतानि कौन्तेय प्रकृति यान्ति मामिकाम्।कल्पक्षये पुनस्तानि कल्पादौ विसृजाम्यसम।प्रकृ स्वामवष्टभ्य विसृजामि पुनः पुनः।भूतग्राममिमं कृत्स्न्मवशं प्रकृतेर्वशात्।। गीता९/७-८हे कुन्ती नंदन अर्जुन, कल्प की...
The measure of time adopted by the hindus ancient period.★★★★★★★★★★★★★★★★★★1-आँख का पलक १बार गिरने का समय = ०१ निमेष2- ०१...
आइये पहले निम्नलिखित को भी समझ लेतें हैं।~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~आत्मा = 1/२ ईश्वर + 1/2 जीव का प्रारब्धज्ञान + कर्म~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~ज्ञान = आत्मा...
भूमिरापो नलो वायुः खं मनो बुद्धिरेव च।अहंकार इतीयं मे भिन्ना प्रकृतिरष्टधा ।।Bhumir, apo ,nalo ,vayuh, kham, mano buddir evacha,Ahankar itiyam...
अष्टौ प्रकृतयः ।।१।। ●●●●●●●● प्रधान प्रकृति (नाद)Totality, | महत्तत्व( बिन्दु)Point, | अहंकार (अक्षर)Value of point, | ( Memory), शब्द |...
एकं सद्विप्रा बहुधा वदन्त्यग्निंयम मातरिश्र्वानमाहुः ।।एक ही सत रुप परमेश्वर का विद्वजन विभिन्न गुणों एवं स्वरुपों के आधार पर ,विविध...